150 पागल दोस्त शायरी pagal dost ke upar shayari

पागल दोस्त शायरी pagal dost shayari   के बारे मे आपको यहां पर दिया गया है।उम्मीद करते हैं कि पागल दोस्ती शायरी आपको पसंद आएगी । आप इन शायरी को अपने ब्लॉग पर पोस्ट नहीं कर सकते हैं। हां आप इनको अपने पर्सनल काम मे ले सकते हैं। यह पूरी तरह से यूनिक शायरी हैं। कॉपी पेस्ट वाला सिस्टम हम उपयोग मे नहीं लेते हैं। pagal dost ki shayari

‌‌‌प्यार के गम ने हमें पीना सीखा दिया

और दोस्तों के पागलपन ने हमें जीना सीखा दिया ।।

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‌‌‌हर दुआ कबूल नहीं होता

पागल दोस्ती का कोई उसूल नहीं होता ।

क्योंकि पागलों का कोई रूल नहीं होता ।।

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‌‌‌लोग तो हमारे दोस्त को पागल कहते हैं

लेकिन जमाने ने उसे पागल बनाया है

यादे रखे जमाना पागलों ने ही दोस्ती निभाया है।

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‌‌‌वह नदी ही क्या जिसमे जल ना हो

वह जिंदगी ही क्या जिसमे खुशी के पल ना हो

वह पेड़ ही क्या जिसमे फल ना हो

वह दोस्ती ही क्या जिसमे पागलपन ना हो ।

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‌‌‌कुछ लोग प्यार मे पागल होते हैं

तो कुछ लोग जीवन की हार मे पागल होते हैं।

तो कुछ दोस्तार मे पागल होते हैं।

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‌‌‌ धूल से आंखों मे रड़कन होती है

ऐसा प्यार किस काम का जिसमे तड़पन होती

पागल दोस्तों मे भी धड़कन होती है

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‌‌‌दोस्त हमारे पागल जरूर हैं

पर दोस्ती निभाते हैं।

ऐसे दोस्त सीधे

खुदा की दुनिया से आते हैं।

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पागल दोस्तों के दिवाने हैं ‌‌‌हम

दोस्ती के जमाने हैं हम

दोस्त आपके हैं मगर पुराने हैं हम ।

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‌‌‌पागल दोस्त ही काम आते हैं

जब जरूरत होती है ।

समझदार तो भाग जाते हैं।

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‌‌‌खुशबू की तरह मेरी सांसों के अंदर रहना

पागल दोस्त हैं मेरा अनोमल गहना ।

ऐसे दोस्त को कभी न अलविदा कहना ।

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जो दोस्तों के लिए पागल हो जाएं

ऐसे दोस्त नहीं मिलते इस जमाने मे ।

पागल दोस्तों की दुनिया हैं हम

पागल ही हम हमारे दिल के तहखाने मे ।

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‌‌‌मिट्टी के ढेरों मे छिपा धन देखा है

‌‌‌बड़े बड़े ज्ञानियों मे भी पागलपन देखा है।

हमारा दोस्त पागल है तो क्या हुआ

आपने कौनसा चमन देखा है।

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‌‌‌रिश्ते की खूबसूरती  एहसास से होती है

प्यार की खूबसूरती सांस से होती है

और पागल दोस्त की खूबसूरती साहस से होती ।।

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‌‌‌पागल दोस्ती हमारी जिंदगी की पहचान है

लोग कहते हैं छोड़ दे पागल दोस्त को

लोगों नहीं नहीं पता यही हमारी जाना है।

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‌‌‌बुरे लोगों का कोई  अच्छा चेला नहीं होता

खुदा के साथ कोई खेला नहीं होता ।

जिनका दोस्त पागल नहीं

उनकी जिंदगी मे कोई मेला नहीं होता ।

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‌‌‌कुछ पागलों की दुनिया दिवानी होती है

तो कुछ की अनोखी कहानी होती है।

वो पागल भी दोस्ती निभा देते हैं

जिनको निभानी होती है।

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‌‌‌समुद्र का पानी खारा होता है

फिर भी मछलियों को प्यारा होता है।

दोस्त भले ही पागल है

लेकिन यही हमारा सहारा होता है।

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‌‌‌बिन जुबान बात क्या करें

दोस्ती बिना साथ क्या करें

पागल दोस्त हैं हमारे

उनसे मुलाकात क्या करें ।

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‌‌‌मर्ज का इलाज करने वाली दवा खारी होती है।

खुदा के हाथ मे दुनिया सारी होती है

पागल दोस्त भी दोस्ती निभा जाते हैं

जब उनकी बारी होती है।

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‌‌‌कौन नाप पाया है समुद्र की गहराई को

कौन देख पाया है खुदा की खुदाई को

पागल दोस्त बर्दाश्त नहीं कर सकते

हमारी जुदाई को ।

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‌‌‌मछलियों का जीवन जल होता है

हर समस्या का हल होता है।

पागल दोस्त की शादी होती है

तो हमारे लिए वो खुशी का पल होता है।

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‌‌‌दुश्मनों से मिटाई नहीं जाती हस्ती हमारी

पागल दोस्त करते हैं गश्ती हमारी ।

जमाने को भी रास नहीं आती है मस्ती हमारी ।

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‌‌‌वैसे तो दीवारों के भी कान होते हैं

मत सताओ पेड़ पौधों को

उनमे भी प्राण होते हैं

वैसे तो पागल दोस्त हैं हमारे

लेकिन हमारे दर्द को देखकर वे भी परेशान होते हैं।

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‌‌‌कहीं अंधेरा तो कहीं शाम होगी

हमारी दोस्ती पागल दोस्तों के नाम होगी ।

कभी मांग कर देख लेना दोस्त

हथेली पर जान होगी ।

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‌‌‌आप हमारा साथ ना छोड़ना

आपको हमारी कसम है

अब जमाने ने भी माना

आपकी पागल दोस्ती मे दम है।

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‌‌‌कभी अपने नहीं पहचान पाए

हमारी आंखों की नमी को ।

पागल दोस्तों ने ही

पूरा किया है प्यार की कमी हो ।

मिले ऐसे दोस्त सभी को ।

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‌‌‌वह सांप ही क्या जिसे डसना नहीं आता

वह पागल दोस्त ही क्या जिसे हंसाना नहीं आता ।

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‌‌‌कभी दिल मे भी दिये जलाया करो

अंदर के अंधियारों को मिटाया करो

हे जमाना पागल दोस्त हैं हमारे

उन्हें इतना मत सताया करो ।

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‌‌‌पागल दोस्त हमारे

आंखों का पानी बनकर बह गए

हम देखते रहे और वो

हमारे लिए सब कुछ सह गए ।

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‌‌‌ऐ पागल  दोस्त चांद की चांदनी

मे तुम्हें निहारा है

खुदा ने तुम्हें हमारे लिए जमीं

पर उतारा है।

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‌‌‌जिसे दुनिया पागल कहती है

असल मे वह हीरो होता है

क्योंकि दुनिया का दिमाग

तो जीरो होता है।

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‌‌‌प्यार जिंदगी का मद होता है

दोस्ती से बड़ा हमारा कद होता है

दोस्ती मे पागलपन का एक हद होता है।

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‌‌‌दोस्त भले ही पागल हैं

लेकिन काम आते हैं मुश्किल से मुश्किल हालात में

खुदा भी रहना चाहेगा ऐसे दोस्तों के साथ मे ।

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‌‌‌पागल दोस्ती सेब का मिठास है

इसी लिए हमे यह रास है

यही दोस्त हमारे लिए खासम खास है।

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‌‌‌सूरज की किरणों ने जमाने को रोशन किया है

प्यार ने दीवाने को रोशन किया है

दुश्मनों ने हमारा शोषण किया है।

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पागल दोस्तों ने तो हमारे एहसास को स्लोमोशन किया है।

‌‌‌अपनों के गुजर जाने का एहसास कम था

क्योंकि पागल दोस्तों की दोस्ती मे दम था

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‌‌‌पागल दोस्तों का महत्व कम नहीं होता ।

उनके डर से दुश्मनों का सितम नहीं होता ।

ऐसे दोस्त किस काम के जिनमे दम नहीं होता ।

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‌‌‌दिन बीत जाते हैं यादे सुहानी बनकर

जीवन रह जाता है कहानी बनकर

और कुछ पागल दोस्त राज

करते हैं हमारे दिल की रानी बनकर ।

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‌‌‌ऐ पागल दोस्त तू भले ही हमसे दूर है

लेकिन याद तुम्हें हर रोज करते हैं

आपकी दया से मिला सब कुछ

आज मौज करते हैं।

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‌‌‌पागल दोस्तों की कमी का एहसास भी है

आपकी दोस्ती खास भी है।

आप निभाएंगे दोस्ती यह विश्वास भी है।

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‌‌‌बदलता नहीं सोना अपना रंग

चाहे जितनी बार आग जलाकर देख  ले ।

हम थोड़ें पागल जरूर हैं पर

करेंगे आपके सपनों को पूरा पंख फैलाकर देख ले ।

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‌‌‌असली सोने का कभी रंग नहीं बदलता ।

हमारे पागल दोस्तों का कभी ढंग नहीं बदलता

दोस्त भले ही पुरानें हैं लेकिन उमंग नहीं बदलता ।

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‌‌‌लोग अपनों से दूर बीमार को रखते हैं

‌‌‌हम अपने सीने के अंदर पागल जिगरी यार को रखते हैं

चलो आज दारू पार्टी सोमवार को रखते हैं।

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‌‌‌आपके आने से हमारे होठों पर मुस्कान आती है

पागल दोस्तों से ही जान मे जान आती है।

दोस्ती से ही जिंदगी की पहचान आती है।

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‌‌‌अच्छा दोस्त जरूरी है

लेकिन पागल दोस्त उससे भी जरूरी है

क्योंकि पागल दोस्त बिना दोस्ती अधूरी है।

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‌‌‌बुरे वक्त मे जो साथ दे वह दोस्त होता है।

अच्छे वक्त मे जो साथ देता है धोखेबाज होता है

जो हर वक्त साथ दे वह पागल दोस्त होता है।

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‌‌‌एक पागल दोस्त ही है जिसका

कोई मतलब नहीं होता ।

वरना दुनिया के अंदर सब कुछ मतलब के लिए होता है।

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‌‌‌दोस्ती जब मतलबी बन जाए तो बेवफा हो जाती है

दोस्ती जब मजबूरी बन जाए तो जिंदगी खफा हो जाती है

और दोस्ती जब पागल बन जाए तो दुश्मनी दफा हो जाती है।

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‌‌‌भंवरों को उड़ते हुए देखा है चमन मे

खुशियां भरते हैं वो दामन मे

जिनके पागल दोस्त रहते हैं मन मे ।

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‌‌‌कभी कभी पागलपन भी काम आता है

इसीलिए तो पागलों का सबसे उपर नाम आता है।

पागल दोस्तों से ही हैं हम

फिर भी पागलों पर इल्जाम आता है।

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‌‌‌लोग तो प्यार मे पागल होते हैं

लेकिन हम दोस्तों की दोस्ती मे पागल होते हैं

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‌‌‌बहते दरिया की कसम

दिल खोलकर मत देखना

क्योंकि पागल दोस्तों के दिल मे भी

रहते हैं हम ।

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‌‌‌सूखें मे कभी फूल खिलते नहीं

दोस्त तो बहुत मिल जाएंगे

लेकिन पागल दोस्त मिलते नहीं ।

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‌‌‌दिल के आइने मे देखा है आपको

नदी के मुहाने मे देखा है आपको

हे पागल दोस्त

जग को हंसाने मे देखा है आपको

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‌‌‌पागल लोगों से भी दोस्ती होती है।

उनकी भी अपनी मस्ती होती है।

दोस्त भले ही पागल है पर सच्चा है

वरना दोस्ती बहुत सस्ती होती है।

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‌‌‌तकदीर का लिखा कोई मिटा नहीं सकता ।

हमारी जिदंगी से पागल दोस्तों को कोई हटा नहीं सकता ।

पागल दोस्तों से ही डरता है जमाना

धूल हमें कोइ चटा नहीं सकता ।

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‌‌‌धरती से आसमां की दूरी कोई घटा नहीं सकता

बिना पापड़ बेले लकड़ी कोई पटा नहीं सकता ।

हमारे जैसे पागल दोस्त कोई बना नहीं सकता ।

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‌‌‌पागल दोस्तों के आने से

जिंदगी की लहरों मे उफान आ गया

दूश्मनों को लगा ऐसा जैसे कि

तूफान आ गया ।

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‌‌‌कौन बचा है सूरज के ताप से

कौन बचा है जिंदगी के पाप से

पागल दोस्त ही हैं जो

बचा सकते हैं आपको दुश्मनों के शाप से ।

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‌‌‌ऐ पागल दोस्तों दोस्ती कभी नहीं तोड़ेंगे

यह वादा है आपसे ।

हमारी जिंदगी को उम्मीद ज्यादा है आपसे ।

सिर्फ इस जन्म का नहीं जन्म जन्म का नात है आपसे ।

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‌‌‌फूलों के आस पास भौंरों की टोली भी हमने देखी हैं

दुश्मनों की बोली भी हमने देखी हैं

और पागल दोस्तों संग रंगोली भी हमने देखी है।

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‌‌‌चूहों की दोस्ती बिल से होती हैं

राही की दोस्ती मंजिल से होती है

पागल दोस्ती दिल से होती है।

हमारी दोस्ती तो दोस्तों की महफिल से होती है।

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‌‌‌सकून के दो पल काश हम बिता लेते

नहीं जाते दोस्त हमारे पागल

काश उनको मना लेते है।

काश ऐसा कोई गीत होता जो

गम मिटा देता तो उसे गा लेते ।

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‌‌‌बहुत देखे हैं सुंदरता के पूजारी

लेकिन असल मे होते हैं वो जूआरी

पागल दोस्तों से ही जिंदगी है

वरना किसने आपके उपर जिदंगी उतारी।

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‌‌‌जरूरत नहीं है हमें दुश्मनों के फूलों की

खुदा से तमन्ना करते हैं पागल

दोस्तों के झूलों की ।

हम वो इंसान नहीं जो बलि चढ़ा दे

अपने उसूलों की ।

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‌‌‌ऐसा इंसान किस काम का जिसका

कोई उसूल नहीं होता ।

ऐसा पागल दोस्त किस काम का

जिसका कोई रूल नहीं होता ।

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‌‌‌मिट जाते हैं बड़ी बड़ी हस्ती भी वक्त के आगे

बस पागल दोस्त ही होते हैं

जो रहते हैं रात भर आपके लिए जागे ।

वरना सारी दुनिया तो पैसों के पीछे भागे ।

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‌‌‌हर परिंदे का एक ठिकाना होता है

जो दोस्ती नहीं निभा सकते

उनका एक बहाना होता है।

बिना आवाज दिये भी आ जाते हैं

वो दोस्त जिन्हें आना होता है।

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‌‌‌जिदंगी तो दो पल जैसी है

उसके बाद बस खामौसी है।

पागल दोस्त कोई और

नहीं हमारा पड़ोसी है।

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‌‌‌इतना आसान नहीं होता

गम को भूल जाना

हर किसी मे बस की बात नहीं होती

फांसी के फंदे पर झूल जाना ।

सदा अपने पागल दोस्तों

के साथ ही स्कूल जाना ।

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‌‌‌दरीदों की दरिंदगी देखी

परिदों की परिंदगी देखी

पागल दोस्तों के संग

आज हमने जिंदगी देखी ।

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‌‌‌हर युद्ध का एक मर्म होता है

परदे का मतलब शर्म होता है

अच्छाई के लिए लड़ना भी धर्म होता है

पागल दोस्तों की दोस्ती निभाना

भी एक अच्छा कर्म होता है।

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‌‌‌पागल दोस्तों के लिए जब से दिल ने

धड़कना छोड़ दिया

तो हमने भी तड़पना छोड़ दिया ।

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‌‌‌ऐ पागल दोस्त हवा की उड़ान हो तुम

हमारे दिल पर चंदन से लिखा नाम हो तुम

हमको बचाने वाले भगवान हो तुम ।

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‌‌‌जो सदा के लिए मिटा दे आपकी भूख

ऐसा कोई गोश्त नहीं होता है

‌‌‌हम तो बिखारी हैं

और भिखारियों का कोई दोस्त नहीं होता ।

अब पागलों से दोस्ती करके कोई

अफसोस नहीं होता ।

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‌‌‌समय की गति को देखों

पति के लिए जो कुर्बान हो जाए उस सती को देखो

जो खुद बेवफा हैं और दूसरों पर सवाल करते हैं

ऐसे दोस्तों की  मति को देखो 

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‌‌‌गुब्बारे तो हवा मे उड़ाये जाते हैं

दुश्मन आपस मे भिड़ाये जाते हैं

और पागल दोस्त रूलाए नहीं

हंसाये जाते हैं।

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‌‌‌दर्द सबको होता है

कोई दिल को दर्द देता है

तो कोई तन को दर्द देता है

तो कोई मन को दर्द देता है

और पागल दोस्त खुशियां

वृह्रद्ध देता है।

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‌‌‌आप हमें बचाने तब आए

जब हम ना उम्मीद हो गए ।

लेकिन आपके आने से

हम और अधिक प्रसिद्ध हो गए

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‌‌‌कौन कहता है जमीं पर तारे नहीं होते

कोई दोस्त बेवफा हो जाता है पर सारे नहीं होते ।

हम नहीं आते बचाने यदि यह पागल दोस्त हमारे नहीं होते ।

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‌‌‌हमारी पसंद कुछ खास है

पागल दोस्तों के आने की आस है।

निकालेंगे उनके पर जो

जिदंगी भर की भड़ास है।

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‌‌‌मिलना और बिछड़ जाना जिंदगी का खेल है

जिदंगी गम और खुशियों का मेल है।

दोस्त भी पागल मिलें हैं

यही जिंदगी की जेल है।

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‌‌‌बिकता है हर रिश्ता इस जमाने मे

दम लगाना पड़ता है दोस्ती का बोझ उठाने मे

हमारे पागल दोस्त ही आगे रहते हैं

दोस्ती निभाने मे ।

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‌‌‌अपनो से हम कोई बात छुपाया नहीं करते

दर्द मे खुशियों के गीत गाया नहीं करते

पागल दोस्तों को तो दिल मे रखते हैं

मन मे बसाया नहीं करते ।

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‌‌‌सड़क चलने के लिए होती है

जिदंगी संभलने के लिए होती है।

सूरज की रोशनी ढलने के लिए होती है

और पागल दोस्ती मचलने के लिए होती है।

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‌‌‌हर दम साथ रहेंगे आपके

खुशियां देंगे आपको छापके

पागल दोस्तों के रहते

नहीं दबाव मे आएंगे खाप के ।

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‌‌‌हे खुदा आपने हमे सितारा दिया होता

बुरे वक्त मे सहारा दिया होता ।

पहचान बनती हमारे पागल  दोस्तों की भी

यदि उन्होंने दोस्ती का नारा दिया होता

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लोग इश्क मे भी सोनिया देखते हैं।

‌‌‌पागल दोस्तों मे हम अपनी दुनिया देखते हैं

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‌‌‌आप अगर भूलना चाहो तो भी हम याद आएंगे ।

दोस्ती की है आपसे हर कदम पर आपके साथ आएंगे ।

यह वादा रहा हमारा दोस्ती हर कदम पर निभाएंगे ।

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‌‌‌हमारी तो मौत मे भी जिंदगी है

जब तक पागल दोस्तों की बंदगी है।

‌‌‌हर ताले की एक चाबी होती है

हर रिश्ते मे एक खराबी होती है

पागल दोस्ती तो एक तरह से

शराबी होती है।

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‌‌‌आंगन मे काम होता है झाडू का

पेड़ों मे काम होता है आडू का

और दोस्ती मे काम होता है राडू का ।

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‌‌‌किस्मत के फैसले खुदा करता है

वही दोस्तों को जुदा करता है।

पागल दोस्त और कुछ नहीं

जिंदगी को सुधा करता है।

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‌‌‌चिंटियों सी हो गई है जिंदगी हमारी

पागल दोस्तों ने दी है हमे दुस्वारी

अब नहीं बनाएंगे कोई दोस्त

भले ही उम्र बीत जाए सारी ।

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‌‌‌किस्मत के घड़े को दुश्मनों ने फोड़ दिया

पागल दोस्तों ने भी साथ छोड़ दिया ।

लेकिन अपनो ने टूटे धागों को जोड़ दिया ।

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‌‌‌वक्त आने पर जलते दीये भी बुझ जाते हैं

दोस्तों के जाने का गम बहुत है

रोते रोत गले रूंध जाते हैं।

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‌‌‌शिकारी तो शिकार करता है

भगत भगवान की जयकार करता है।

वह कैसा दोस्त जो बुरे वक्त

मे भी इनकार करता है।

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‌‌‌चिंटियों का भी घर होता है।

मिटते वही हैं जिनके पैरों मे सर होता है।

गलत रश्ते पर हम इसलिए नहीं चलते

क्योंकि पागल दोस्तों मे भी डर होता है।

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जब जब हम रोते हैं बरसात आती है

जीवन मे बस एक दिन खुशी की रात आती है

जब पागल दोस्ती साथ आती है।

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‌‌‌दूध की मिलावट हमने देखी है

शादी की सजावट हमने देखी है।

पागल दोस्ती मे भी मावट हमने देखी है।

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‌‌‌सोती हुई आंखों का सपने हो तुम

पागल दोस्त तुम कोई और नहीं अपने हो तुम ।

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‌‌‌ठंड मे शराब मिल जाए तो क्या कहना

और गर्लफ्रेंड खराब मिल जाए तो क्या कहना ।

दुश्मनों ‌‌‌को जवाब मिल जाए तो क्या कहना

जिंदगी की किसी मोड़ पर दोस्तों का

सैलाब मिल जाए तो क्या कहना ।

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‌‌‌अब पढ़ने का मन नहीं पन्ने पलटते हैं

मजा तब आता है जब दुश्मन सलटते हैं

और पागल दोस्त भी वक्त आने पर चलटते हैं।

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‌‌‌टीचर बनने का अफसोस होता है

दोस्ती मे नहीं हर किसी मे वो जोश होता है

कुछ पागल दोस्त तो मिलने तक नहीं आते

जब जीवन खामोश होता है।

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‌‌‌विषाणू तो शरीर के अंग मे होते हैं

दोस्त याद तभी करते हैं जब वो

जिंदगी की जंग मे होते हैं।

बाकी समय तो वो अपने

असली रंग मे होते हैं।

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‌‌‌पैन की स्याही से लिखा मिट जाता है

दिल की तन्हाई से लिखा मिट जाता है

पर दोस्त की बेवफाई से लिख नहीं मिटता ।

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‌‌‌पिंजरे मे रहना किसे पसंद है

पूछो हाल उससे जो पिंजरे में बंद है।

खुशी से जिलो यारो जिंदगी

के दिन बस चंद हैं।

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‌‌‌भूख का एहसास तब होता

जब भूख लगती है

पागल दोस्ती मे बेवफाई का

एहसास तब होता  है जब चूक लगती है।

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‌‌‌हम भूने हुए तिलों की तरह हैं

हम आते जाते सिलसिलों की तरह हैं

हर वक्त दिखने वाले बिलों की तरह हैं

पागल दोस्त भी हमारे महफिलों की तरह हैं।

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‌‌‌न कब्र होती न कब्रिस्तान होता

न खुदा होता ना खुदाई होती ।

न दोस्ती होती ना जुदाई होती ।

सीखा देती जो दोस्ती निभाना

काश ऐसी पढ़ाई होती ।

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‌‌‌तकदीर का फैसला खुदा करता है

कीड़े पड़ें ऐसे दुश्मनों मे

जो दो दोस्तों को जुदा करता है।

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‌‌‌जवाब देना हमें भी आता है साजिशों का

लेकिन नहीं रखते भार दिल पर रंजिशों का

जिनमे हमारे पागल दोस्तों के चहरे नहीं दिखते

क्या करें ऐसे शीशों का ।

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‌‌‌हमारी खमोशी को उसने प्यार समझ लिया

और पागल दोस्तों ने इंतजार समझ लिया ।

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‌‌‌जिदंगी मे इतने कम ना होते

तो मरता नहीं कोई जहर से

हमारे पागल दोस्त ही हमें

बचाते हैं दुश्मनों के कहर से ।

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दोस्त अगर बेवफा नहीं तो

कौन निकलना चाहेगा दोस्तों के शहर से ।

‌‌‌किताब पढ़ने से कोई ज्ञानी नहीं होती ।

दो मूठी दान से कोई दानी नहीं होता ।

हमारे जैसे दोस्तों का कोई सानी नहीं होता ।

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‌‌‌तुम जीत नहीं सकते कभी वक्त से

दोस्त हो दुश्मनों की तरह मत खेलो रक्त से

वरना नफरत हो जाएगी दोस्ती शब्द से ।

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‌‌‌जो दर्द ना दे वो गम भी अच्छा है

जो धोखा ना दे वो दोस्त सच्चा है।

ऐसे दोस्त कहां मिलते हैं

वरना खून का रिश्ता भी बहुत कच्चा है।

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‌‌‌पागल दोस्तों की दोस्ती निभाओं तो

जमाना याद करेगा ।

दुश्मनों का भरोशा क्या दोस्त अपना

ही तुझे आबाद करेगा ।

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‌‌‌शायरी ने शायर बना दिया

डर ने हमे कायर बना दिया ।

और बेरहम जमाने ने हमें

जर्नल डायर बना दिया ।

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‌‌‌काश हमे खुदा ने उकेरा होता

तो आज पागल दोस्तों के पास डेरा होता ।

दोस्त यदि दोस्ती निभा देते तो न

आज फूटा किस्मत मेरा होता है।

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‌‌‌मरना और जीना तो नियम है कूदरत का

छोटी सी जिंदगी मे खेल खेलते हैं हम नफरत का

ऐसे ढोंगी दोस्त भी बहुत होते हैं जो

चश्मा रखते हैं सराफत का ।

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‌‌‌मित्र दिल से बनाया करों

दोस्तों की दोस्ती निभाया करो

और कभी कभी हम जैसे

पागल दोस्तों से  मिलने आया करो ।।

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‌‌‌जीवन तो चलने का नाम है

आग जलने का नाम है

और शाम ढलने का नाम है।

पागल दोस्ती फूलने फलने का नाम है।

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‌‌‌जो गम को जला ना सके वह आग कैसी

जो भीगों ना सके वह बरसात कैसी

जो अंधेरा ना कर सके वह रात कैसी

जो पागल दोस्ती निभा ना सके वह साथ कैसी ।

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‌‌‌रिश्तों मे जड़ें खोदा हम नहीं करते

‌‌‌पागल दोस्ती का सौदा हम नहीं करते

अपनों को रौंदा हम नहीं करते ।

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जाले मे काम होता है मकड़ी का

‌‌‌बूढापे मे सहारा होता है लकड़ी का

और पागल दोस्ती मे सहारा होता है

दोस्ती मे काम होता है चौकड़ी का ।

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‌‌‌दुनिया पूछती है इतने गम मे खुश कैसे हो

हम कहते हैं दुनिया साथ दे ना दे लेकिन

हमारे पागल दोस्त साथ देते हैं।

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‌‌‌टूटता वही जल्दी है जो कड़ा होता है

जीतता वही है जो जंगमे लड़ा होता है।

पागल दोस्त ही है जो अंत तक आपके साथ

खड़ा होता है।

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‌‌‌ऐ पागल दोस्त चलो

चेहरे की मुस्कान देते हैं तुम्हें

अपनी दोस्ती को निभाने के लिए

आज हम अपनी जान देते हैं तुम्हें ।

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‌‌‌रिश्ता भले ही हो हमारा अंगूरों से

लेकिन मीठे हैं हम सूरों से ।

अब पागल दोस्तों के हाथों की

शराब पीलें मन करता है जोरों से ।

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‌‌‌पुकारोगे तो खुदा भी दूर नहीं है

हमारा पागल दोस्त सच्चा है

मगर उतना मसहूर नहीं है।

यह हर वक्त हमारे दिल मे है

दिल से दूर नहीं है।

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‌‌‌हम दर्दों की हमदर्दी देखी

दोस्तों की बेदर्दी देखी ।

और बेरूत मे ही हमने ऐसी सर्दी देखी ।

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‌‌‌कहते हैं कुदरत ने हर चीज बनाई है

लेकिन हमारे पागल दोस्त को छोड़कर

हमारे लिए सब कुछ पराई है।

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‌‌‌सपनों की दुनिया मे यकीन कौन करता है

पागल दोस्तों मे झगड़ा हुआ तो क्या हुआ

रोड़ पर यह सीन कौन करता है।

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‌‌‌फूलों का बढ़ना अच्छा है

दुश्मनों का लड़ना अच्छा है।

पागल दोस्तों की दोस्ती मे

पड़ना अच्छा है।

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‌‌‌जिसने जीवन दिया है वह दान भी देगा

जिसने सम्मान किया है वह मान भी देगा ।

जिसने दोस्ती की है मांगल ले यार

वह जान भी देखा ।

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‌‌‌मर्दो की मर्दानगी देखी

प्यार मे हद से गुजर जाने की दिवानगी देखी

दोस्ती मे ही हमने जिंदगी की रवानगी देखी ।

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‌‌‌काश हम सपेरे होते ।

तब हजारों पागल दोस्त मेरे होते ।

तब जिदंगी मे नए सवेरे होते ।

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‌‌‌समुद्र मे पत्थर यूंही पड़ा होता है

रिश्तों मे दोस्ती का रिश्ता सबसे बड़ा होता है।

जो गर्मी मे भी ठंडा पानी देता है पागल

दोस्ती वह घड़ा होता है।

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‌‌‌दुश्मन कहते हैं हम तुझे

रस्तों से हटा देंगे  ।

और पागल दोस्त कहते हैं

ऐसा बोलने वालों को दुनिया से उठा देंगे ।

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‌‌‌प्यार मे समझौता हम नहीं करते

पागल दोस्ती मे धोखा हम नहीं करते ।

अगर आपको जाना है तो जाओ रोका हम नहीं करते ।

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‌‌‌हमारे पागल दोस्त शक्ल से भोले हैं

भूल कर भी मत टकराना उनसे

क्योंकि वे आग के गोले हैं।

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‌‌‌किस्मत  उनकी भी होती है

जिनके हाथ नहीं होते

जीते वो भी हैं जिनके पागल दोस्त

साथ नहीं होते ।

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‌‌‌इस दुनिया मे ईमानदारी की कोई कद्र नहीं ।

बनाते हैं नए नए दोस्त सब्र नहीं ।

जहां मिल जाएं सारे दोस्त एक साथ

ऐसा कोई नगर नहीं ।

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‌‌‌पागलपन की कोई दवा नहीं

जो भरदे जिंदगी को खुशियों से

ऐसी कोई हवा नहीं ।

बिन दोस्ती के जिंदगी रवा नहीं ।

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‌‌‌आंखों का अंधेरा तो मिट जाता है

लेकिन मिटता नहीं दिल का अंधेरा

पागल दोस्त हैं हमारे पागल

खाने मे आज भी है उनका डेरा ।

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‌‌‌प्यार आपसे वही करते हैं

जो रहते हैं आपकी बांहों मे

पागल दोस्त तो उड़ने से

बचाते हैं आपको हवाओं मे

ऐसे तो बहुत सारे दोस्त

मिलते हैं राहों मे ।

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गांवों मे कुछ गंवार होते हैं

और दोस्तों मे कुछ होशियार होते हैं

पागल दोस्तों मे भी संसार होते हैं।

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‌‌‌दवा नहीं होती है कोई वहम की

वजह भी तो होनी चाहिए

दुश्मनी मे रहम की

पागल दोस्तों की दोस्ती ही

होती है गहन की ।

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‌‌‌जो आंखों से देखा वह ख्वाब था

जो दिल से देखा वह जवाब था।

जो बोतल से पिया वह शराब था।

स्कूल मे बनाने से क्या फायदा

जमाना ही बहुत खराब था।

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‌‌‌कभी कभी आंखों मे दबे अल्फाज होते हैं

सीने मे दफन राज होते हैं

और पागल दोस्तों मे भी दगाबाज होते हैं।

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‌‌‌आप जब दोस्त का भरोशा तोड़ते हैं

तो आप उससे भी भरोशे की उम्मीद नहीं कर सकते ।

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‌‌‌भरोशा उस पर करना चाहिए

जो भरोशे के लायक हो

दोस्त उसे बनाना चाहिए

जो जिंदगी मे सहायक हो ।

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‌‌‌पानी के बुलबुलों सा होता है प्यार

और दोस्ती मे होता हैं संसार

This post was last modified on December 27, 2023

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